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आज का पंचांग Ashburn के लिए

नवंबर 19, 2025 पंचांग, Ashburn

अपनी दैनिक पूजा, व्रत, और संकल्प के लिए आवश्यक पंचांग विवरण प्राप्त करें। किसी भी कार्य को सफलतापूर्वक शुरू करने के लिए महत्वपूर्ण तिथि, नक्षत्र, योग, करण, वर्ज्यम, राहुकाल और शुभ समय को आसानी से जानें।

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आज का पूरा पंचांग देखने के लिए नीचे स्क्रॉल करें


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19/11/2025Ashburn
स्वस्ति श्री विश्वावसु संवत्सर, दक्षिणायन, शरद ऋतु, कार्तिक मास, कृष्ण पक्ष, बुधवार (सौम्यवासरः)
(पूर्णिमान्त : विश्वावसु संवत्सर, हेमंत ऋतु, मार्गशीर्ष मास)
तिथि
सूर्योदय काल तिथि: अमावस्या
अमावस्या कल(20) 01:48 AM तक, फिर शुक्ल-प्रतिपदा
नक्षत्र
विशाखा कल(20) 12:29 AM तक, फिर अनुराधा
राशि
तुला राशि 17/11/2025, 05:05:53 से  19/11/2025, 17:44:55 तक
वर्ज्य
कल(20) 04:59 AM से कल(20) 06:47 AM तक
दुर्मुहूर्त
11:35 AM से 12:15 PMतक
राहुकाल

11:55 AM से 01:09 PM तक
अमृत घड़ियां
आज (19) 02:35 PM से आज (19) 04:23 PM तक
श्राद्ध तिथि

अमांत : कार्तिक अमावस्या
पूर्णिमान्त : मार्गशीर्ष अमावस्या
पूर्णिमान्त पंचांग का उपयोग मुख्य रूप से उत्तर भारत में किया जाता है, जबकि अमान्त पंचांग का पालन दक्षिण भारत और अन्य क्षेत्रों में किया जाता है।

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योग
शोभन आज (19) 11:22 PM तक, फिर अतिगण्ड
करण
चतुष्पाद आज (19) 12:31 PM तक, फिर नाग कल(20) 01:48 AM तक
नक्षत्र पाद
विशाखा-1 आज (19) 04:15 AM तक
विशाखा-2 आज (19) 11:00 AM तक
विशाखा-3 आज (19) 05:44 PM तक
विशाखा-4 कल(20) 12:29 AM तक
सूर्य राशि
वृश्चिक राशि 16/11/2025, 03:07:52 से  15/12/2025, 17:45:37 तक
अशुभ समय
गुलिक काल
10:41 AM से 11:55 AM तक
यमगण्ड काल
08:12 AM से 09:26 AM तक
सूर्यचंद्र उदयास्त
सूर्य
सूर्योदय: 06:57 AM
सूर्यास्त: 04:53 PM
चंद्र
चंद्रोदয়: 06:30 AM
चंद्रास्त: 04:10 PM
दिन की अवधि : 09:55
अभिजीत : 11:55 AM
रात्रि की अवधि : 14:05
पूजा, होम और अभिषेक
अग्निवास : पृथ्वी (शुभ) कल(20) 01:48 AM तक
होमाहुति : सूर्य
शिव वास : भोजन (अशुभ)
यात्राओं के लिए...
दिशा शूल : उत्तर
बुधवार को उत्तर दिशा में यात्रा से बचें। यदि आवश्यक हो, तो तुलसी के पत्ते, तिल या धनिया खाकर निकलें।
ध्यान दें: जिस दिशा में दिशा शूल होता है, उस दिशा में यात्रा नहीं करनी चाहिए। यह केवल लंबी यात्राओं या लंबे समय तक रहने के लिए लागू होता है, दैनिक यात्राओं पर नहीं।

दिन, रात विभाजन

दिन विभाजन
अरुणोदय काल05:21:49 AM से 06:57:49 AM
प्रातः काल06:57:49 AM से 08:56:51 AM
संगव काल08:56:51 AM से 10:55:54 AM
मध्याह्न काल10:55:54 AM से 12:54:56 PM
अपराह्न काल12:54:56 PM से 02:53:59 PM
सायं काल02:53:59 PM से 04:53:01 PM
रात्रि विभाजन
प्रदोष काल04:53:01 PM से 07:42:12 PM
निशीथ काल11:27:46 PM से 12:24:10 AM
अर्धरात्रि11:55:58 PM
उषः काल04:09:44 AM से 06:58:55 AM

शुभ समय

शुभ समय
ब्रह्म मुहूर्त05:06:07 AM से 06:02:31 AM
विजय मुहूर्त01:34:37 PM से 02:14:18 PM
अभिजीत काल11:35:35 AM से 12:15:15 PM
गोधूलि मुहूर्त06:52:21 PM से 07:04:22 PM

त्रिसंध्या समय

त्रिसंध्या समय
प्रातः संध्या काल06:02:31 AM से 06:58:55 AM
मध्यान्ह संध्या काल11:30:37 AM से 12:20:13 PM
सायं संध्या काल04:13:21 PM से 04:53:02 PM

गौरीपंचांग / चौघड़िया
दिन
नामसमय (प्रारंभ - अंत)
लाभ-बुध (अच्छा)06:57 AM - 08:12 AM
अमृत-चंद्र (अच्छा)08:12 AM - 09:26 AM
काल-शनि (खराब)09:26 AM - 10:41 AM
शुभ-गुरु (अच्छा)10:41 AM - 11:55 AM
रोग-मंगल (खराब)11:55 AM - 01:09 PM
उद्वेग-सूर्य (खराब)01:09 PM - 02:24 PM
चर-शुक्र (तटस्थ)02:24 PM - 03:38 PM
लाभ-बुध (अच्छा)03:38 PM - 04:53 PM
रात्रि
नामसमय (प्रारंभ - अंत)
उद्वेग-सूर्य (खराब)04:53 PM - 06:38 PM
शुभ-गुरु (अच्छा)06:38 PM - 08:24 PM
अमृत-चंद्र (अच्छा)08:24 PM - 10:10 PM
चर-शुक्र (तटस्थ)10:10 PM - 11:55 PM
रोग-मंगल (खराब)11:55 PM - 01:41 AM
काल-शनि (खराब)01:41 AM - 03:27 AM
लाभ-बुध (अच्छा)03:27 AM - 05:13 AM
उद्वेग-सूर्य (खराब)05:13 AM - 06:58 AM
ये चौघड़िया तिथि, वार या नक्षत्र की परवाह किए बिना किसी भी काम को शुरू करने, नौकरी में शामिल होने आदि के लिए अनुकूल होते हैं। शुभ चौघड़ियों में किए गए कार्य अनुकूल रहते हैं। औषधि सेवन के लिए अमृत घड़िया, यात्रा के लिए चर घड़िया, और व्यापार या महत्वपूर्ण कार्य शुरू करने के लिए लाभ घड़िया उत्तम होती हैं।

दिन मुहूर्त
दिन
अधिपतिसमय (प्रारंभ - अंत)
रुद्र06:57 AM - 07:37 AM
अहि07:37 AM - 08:17 AM
मित्र08:17 AM - 08:56 AM
पितृ08:56 AM - 09:36 AM
वसु09:36 AM - 10:16 AM
अम्बु10:16 AM - 10:55 AM
विश्वदेव10:55 AM - 11:35 AM
अभिजित11:35 AM - 12:15 PM
विधाता12:15 PM - 12:54 PM
पुरुहूत12:54 PM - 01:34 PM
इन्द्राग्नि01:34 PM - 02:14 PM
निरृति02:14 PM - 02:53 PM
वरुण02:53 PM - 03:33 PM
आर्यमन03:33 PM - 04:13 PM
भग04:13 PM - 04:53 PM
रात्रि
अधिपतिसमय (प्रारंभ - अंत)
गिरीश04:53 PM - 05:49 PM
आजपद05:49 PM - 06:45 PM
आहिर्बुध्न्य06:45 PM - 07:42 PM
पूषन07:42 PM - 08:38 PM
अश्वि08:38 PM - 09:34 PM
यम09:34 PM - 10:31 PM
अग्नि10:31 PM - 11:27 PM
विधात्री11:27 PM - 12:24 AM
छन्द12:24 AM - 01:20 AM
आदिति01:20 AM - 02:16 AM
जीव02:16 AM - 03:13 AM
विष्णु03:13 AM - 04:09 AM
अर्क04:09 AM - 05:06 AM
ब्रह्मा05:06 AM - 06:02 AM
मारुत06:02 AM - 06:58 AM

होरा समय
अधिपतिसमय (प्रारंभ - अंत)
बुध06:57 AM - 07:47 AM
चंद्र07:47 AM - 08:37 AM
शनि08:37 AM - 09:26 AM
गुरु09:26 AM - 10:16 AM
मंगल10:16 AM - 11:05 AM
सूर्य11:05 AM - 11:55 AM
शुक्र11:55 AM - 12:45 PM
बुध12:45 PM - 01:34 PM
चंद्र01:34 PM - 02:24 PM
शनि02:24 PM - 03:13 PM
गुरु03:13 PM - 04:03 PM
मंगल04:03 PM - 04:53 PM
सूर्य04:53 PM - 06:03 PM
शुक्र06:03 PM - 07:14 PM
बुध07:14 PM - 08:24 PM
चंद्र08:24 PM - 09:34 PM
शनि09:34 PM - 10:45 PM
गुरु10:45 PM - 11:55 PM
मंगल11:55 PM - 01:06 AM
सूर्य01:06 AM - 02:16 AM
शुक्र02:16 AM - 03:27 AM
बुध03:27 AM - 04:37 AM
चंद्र04:37 AM - 05:48 AM
शनि05:48 AM - 06:58 AM

ताराबल/ चंद्रबल

ताराबल कल(20) 12:29 AM तक

आपका नक्षत्र: पुनर्वसु, विशाखा, पूर्वभाद्रपद
ताराबल: जन्मतारा
फल, उपाय: यह बहुत अच्छा नहीं है। सूर्य इसका अधिपति है। यह मन पर प्रभाव डालता है जिससे समस्याएं उत्पन्न होती हैं। तीसरा पाद अधिक हानिकारक लक्षण रखता है। जन्मतारा वाले दिन किसी काम या शुभ कार्य की शुरुआत से पहले पत्तेदार सब्जियों का दान करना चाहिए।
आपका नक्षत्र: पुष्य, अनुराधा, उत्तराभाद्रपद
ताराबल: परम मित्र तारा
फल: यह अच्छा है, लेकिन थोड़े प्रयास से आपका काम पूरा हो जाएगा। अंत में आर्थिक लाभ होगा।
आपका नक्षत्र: आश्लेषा, ज्येष्ठा, रेवती
ताराबल: मित्र तारा
फल: शुभ। यह आराम और खुशी देता है। सृजनात्मकता को बढ़ाता है और अप्रत्याशित शुभ परिणाम लाता है।
आपका नक्षत्र: अश्विनी, मघा, मूल
ताराबल: नैधनतारा
फल, उपाय: यह अच्छा नहीं है, इसे पूरी तरह से टाल देना चाहिए। किसी भी शुभ कार्य के लिए अनुकूल नहीं है। यह आर्थिक नुकसान और विवादों का भय उत्पन्न करता है! अनावश्यक खर्च और कठिनाइयाँ होंगी। नैधनतारा के दिन यदि किसी कार्य या शुभ कार्य को करना आवश्यक हो, तो कार्य शुरू करने से पहले तिल के साथ सोना दान करें।
आपका नक्षत्र: भरणी, पूर्वा फाल्गुनी, पूर्वाषाढ़ा
ताराबल: साधना तारा
फल: शुभ। आप सभी प्रकार के कार्य कर सकते हैं। यह कार्य सिद्धि देता है।
आपका नक्षत्र: कृत्तिका, उत्तर फाल्गुनी, उत्तराषाढ़ा
ताराबल: प्रत्यक्ष तारा
फल, उपाय: यह शुभ नहीं है। चौथा पाद पूरी तरह से अशुभ है। यह दुर्घटनाओं और व्यापारिक सौदों और पेशे में नुकसान लाता है। प्रत्यक्ष तारा के दिन यदि किसी कार्य या शुभ कार्य को करना आवश्यक हो, तो कार्य शुरू करने से पहले नमक का दान करें।
आपका नक्षत्र: रोहिणी, हस्त, श्रवण
ताराबल: क्षेम तारा
फल: शुभ। यात्रा और चिकित्सा उपचार के लिए अच्छा है। यह कल्याण लाता है।
आपका नक्षत्र: मृगशिरा, चित्रा, धनिष्ठा
ताराबल: विपत्तार
फल, उपाय: यह शुभ नहीं है। राहु इसका अधिपति है। यह विवाद और असहमति लाता है। आरंभ किए गए कार्य पूरे नहीं होंगे। विपत्तार के दिन यदि किसी कार्य या शुभ कार्य को करना आवश्यक हो, तो कार्य शुरू करने से पहले गुड़ का दान करें।
आपका नक्षत्र: आर्द्रा, स्वाति, शतभिषा
ताराबल: संपत्तार
फल: शुभ। आर्थिक मामलों और व्यावसायिक लेन-देन के लिए अच्छा है। बुध इसका अधिपति है। कार्यों में अनुकूलता होती है।

ताराबल कल(20) 12:29 AM से तक

आपका नक्षत्र: पुष्य, अनुराधा, उत्तराभाद्रपद
ताराबल: जन्मतारा
फल, उपाय: यह बहुत अच्छा नहीं है। सूर्य इसका अधिपति है। यह मन पर प्रभाव डालता है जिससे समस्याएं उत्पन्न होती हैं। तीसरा पाद अधिक हानिकारक लक्षण रखता है। जन्मतारा वाले दिन किसी काम या शुभ कार्य की शुरुआत से पहले पत्तेदार सब्जियों का दान करना चाहिए।
आपका नक्षत्र: आश्लेषा, ज्येष्ठा, रेवती
ताराबल: परम मित्र तारा
फल: यह अच्छा है, लेकिन थोड़े प्रयास से आपका काम पूरा हो जाएगा। अंत में आर्थिक लाभ होगा।
आपका नक्षत्र: अश्विनी, मघा, मूल
ताराबल: मित्र तारा
फल: शुभ। यह आराम और खुशी देता है। सृजनात्मकता को बढ़ाता है और अप्रत्याशित शुभ परिणाम लाता है।
आपका नक्षत्र: भरणी, पूर्वा फाल्गुनी, पूर्वाषाढ़ा
ताराबल: नैधनतारा
फल, उपाय: यह अच्छा नहीं है, इसे पूरी तरह से टाल देना चाहिए। किसी भी शुभ कार्य के लिए अनुकूल नहीं है। यह आर्थिक नुकसान और विवादों का भय उत्पन्न करता है! अनावश्यक खर्च और कठिनाइयाँ होंगी। नैधनतारा के दिन यदि किसी कार्य या शुभ कार्य को करना आवश्यक हो, तो कार्य शुरू करने से पहले तिल के साथ सोना दान करें।
आपका नक्षत्र: कृत्तिका, उत्तर फाल्गुनी, उत्तराषाढ़ा
ताराबल: साधना तारा
फल: शुभ। आप सभी प्रकार के कार्य कर सकते हैं। यह कार्य सिद्धि देता है।
आपका नक्षत्र: रोहिणी, हस्त, श्रवण
ताराबल: प्रत्यक्ष तारा
फल, उपाय: यह शुभ नहीं है। चौथा पाद पूरी तरह से अशुभ है। यह दुर्घटनाओं और व्यापारिक सौदों और पेशे में नुकसान लाता है। प्रत्यक्ष तारा के दिन यदि किसी कार्य या शुभ कार्य को करना आवश्यक हो, तो कार्य शुरू करने से पहले नमक का दान करें।
आपका नक्षत्र: मृगशिरा, चित्रा, धनिष्ठा
ताराबल: क्षेम तारा
फल: शुभ। यात्रा और चिकित्सा उपचार के लिए अच्छा है। यह कल्याण लाता है।
आपका नक्षत्र: आर्द्रा, स्वाति, शतभिषा
ताराबल: विपत्तार
फल, उपाय: यह शुभ नहीं है। राहु इसका अधिपति है। यह विवाद और असहमति लाता है। आरंभ किए गए कार्य पूरे नहीं होंगे। विपत्तार के दिन यदि किसी कार्य या शुभ कार्य को करना आवश्यक हो, तो कार्य शुरू करने से पहले गुड़ का दान करें।
आपका नक्षत्र: पुनर्वसु, विशाखा, पूर्वभाद्रपद
ताराबल: संपत्तार
फल: शुभ। आर्थिक मामलों और व्यावसायिक लेन-देन के लिए अच्छा है। बुध इसका अधिपति है। कार्यों में अनुकूलता होती है।

चंद्रबल
से 17/11/2025, 05:05:53 से  19/11/2025, 17:44:55 तक
मेष, वृषभ, मिथुन, कन्या, तुला, मकर और कुंभ राशि के जातकों के पास चंद्रबल है।
मीन राशि वालों के लिए अष्टम (8वां) चंद्र.
कर्क राशि वालों के लिए अर्धाष्टम (4वां) चंद्र.
वृश्चिक राशि वालों के लिए द्वादश (12वां) चंद्र.
जब चंद्रमा 4वें, 8वें और 12वें घर में होता है, तो शुभ कार्य करना या लंबी यात्राओं पर जाना उचित नहीं होता।


घातवार

आज कर्क राशि वालों के लिए घातवार है।
घाटा दिवस पर नए सामान का उपयोग, नए वस्त्र पहनना, लंबी यात्रा करना, गृह‑प्रवेश करना, अधिकारियों से मिलना आदि कार्य नहीं करने चाहिए।

लग्न तालिका

लग्नअंत समय
सिंह(19), 01:50 AM
कन्या(19), 04:18 AM
तुला(19), 06:49 AM
वृश्चिक(19), 09:14 AM
धनु(19), 11:15 AM
मकर(19), 12:47 PM
कुंभ(19), 02:02 PM
मीन(19), 03:15 PM
मेष(19), 04:39 PM
वृषभ(19), 06:29 PM
मिथुन(19), 08:46 PM
कर्क(19), 11:16 PM

लग्न शुभांश, पुष्करांश

राशि/विभाजनअंशअंत समय
सिंह/मिथुनशुभ(19), 12:10 AM
सिंह/कर्कशुभ(19), 12:27 AM
सिंह/सिंहवर्गो(19), 12:43 AM
सिंह/कन्यशुभ(19), 01:00 AM
सिंह/तुलापुष्कर(19), 01:17 AM
सिंह/वृश्चिकअशुभ(19), 01:33 AM
सिंह/धनूपुष्कर(19), 01:50 AM
कन्य/मकरअशुभ(19), 02:06 AM
कन्य/कुंभअशुभ(19), 02:23 AM
कन्य/मीनपुष्कर(19), 02:39 AM
कन्य/मेषअशुभ(19), 02:56 AM
कन्य/वृषभपुष्कर(19), 03:12 AM
कन्य/मिथुनशुभ(19), 03:29 AM
कन्य/कर्कशुभ(19), 03:45 AM
कन्य/सिंहअशुभ(19), 04:02 AM
कन्य/कन्यवर्गो(19), 04:18 AM
तुला/तुलावर्गो(19), 04:35 AM
तुला/वृश्चिकअशुभ(19), 04:52 AM
तुला/धनूशुभ(19), 05:08 AM
तुला/मकरअशुभ(19), 05:25 AM
तुला/कुंभअशुभ(19), 05:42 AM
तुला/मीनपुष्कर(19), 05:59 AM
तुला/मेषअशुभ(19), 06:16 AM
तुला/वृषभपुष्कर(19), 06:32 AM
तुला/मिथुनशुभ(19), 06:49 AM
वृश्चिक/कर्कपुष्कर(19), 07:06 AM
वृश्चिक/सिंहअशुभ(19), 07:22 AM
वृश्चिक/कन्यपुष्कर(19), 07:39 AM
वृश्चिक/तुलाशुभ(19), 07:55 AM
वृश्चिक/वृश्चिकवर्गो(19), 08:11 AM
वृश्चिक/धनूशुभ(19), 08:27 AM
वृश्चिक/मकरअशुभ(19), 08:43 AM
वृश्चिक/कुंभअशुभ(19), 08:58 AM
वृश्चिक/मीनशुभ(19), 09:14 AM
धनू/मेषअशुभ(19), 09:29 AM
धनू/वृषभशुभ(19), 09:43 AM
धनू/मिथुनशुभ(19), 09:57 AM
धनू/कर्कशुभ(19), 10:11 AM
धनू/सिंहअशुभ(19), 10:25 AM
धनू/कन्यशुभ(19), 10:38 AM
धनू/तुलापुष्कर(19), 10:51 AM
धनू/वृश्चिकअशुभ(19), 11:03 AM
धनू/धनूपुष्कर(19), 11:15 AM
मकर/मकरवर्गो(19), 11:26 AM
मकर/कुंभअशुभ(19), 11:38 AM
मकर/मीनपुष्कर(19), 11:48 AM
मकर/मेषअशुभ(19), 11:59 AM
मकर/वृषभपुष्कर(19), 12:09 PM
मकर/मिथुनअशुभ(19), 12:19 PM
मकर/कर्कशुभ(19), 12:29 PM
मकर/सिंहअशुभ(19), 12:38 PM
मकर/कन्यशुभ(19), 12:47 PM
कुंभ/तुलाशुभ(19), 12:56 PM
कुंभ/वृश्चिकअशुभ(19), 01:05 PM
कुंभ/धनूशुभ(19), 01:14 PM
कुंभ/मकरअशुभ(19), 01:22 PM
कुंभ/कुंभवर्गो(19), 01:30 PM
कुंभ/मीनपुष्कर(19), 01:38 PM
कुंभ/मेषअशुभ(19), 01:46 PM
कुंभ/वृषभपुष्कर(19), 01:55 PM
कुंभ/मिथुनशुभ(19), 02:02 PM
मीन/कर्कपुष्कर(19), 02:10 PM
मीन/सिंहअशुभ(19), 02:18 PM
मीन/कन्यपुष्कर(19), 02:26 PM
मीन/तुलाशुभ(19), 02:34 PM
मीन/वृश्चिकअशुभ(19), 02:42 PM
मीन/धनूशुभ(19), 02:50 PM
मीन/मकरअशुभ(19), 02:58 PM
मीन/कुंभअशुभ(19), 03:07 PM
मीन/मीनवर्गो(19), 03:15 PM
मेष/मेषवर्गो(19), 03:23 PM
मेष/वृषभशुभ(19), 03:32 PM
मेष/मिथुनशुभ(19), 03:41 PM
मेष/कर्कशुभ(19), 03:50 PM
मेष/सिंहअशुभ(19), 03:59 PM
मेष/कन्यशुभ(19), 04:09 PM
मेष/तुलापुष्कर(19), 04:19 PM
मेष/वृश्चिकअशुभ(19), 04:29 PM
मेष/धनूपुष्कर(19), 04:39 PM
वृषभ/मकरअशुभ(19), 04:50 PM
वृषभ/कुंभअशुभ(19), 05:01 PM
वृषभ/मीनपुष्कर(19), 05:12 PM
वृषभ/मेषअशुभ(19), 05:24 PM
वृषभ/वृषभपुष्कर(19), 05:36 PM
वृषभ/मिथुनशुभ(19), 05:49 PM
वृषभ/कर्कशुभ(19), 06:02 PM
वृषभ/सिंहअशुभ(19), 06:15 PM
वृषभ/कन्यशुभ(19), 06:29 PM
मिथुन/तुलाशुभ(19), 06:43 PM
मिथुन/वृश्चिकअशुभ(19), 06:57 PM
मिथुन/धनूशुभ(19), 07:12 PM
मिथुन/मकरअशुभ(19), 07:27 PM
मिथुन/कुंभअशुभ(19), 07:42 PM
मिथुन/मीनपुष्कर(19), 07:58 PM
मिथुन/मेषअशुभ(19), 08:14 PM
मिथुन/वृषभपुष्कर(19), 08:30 PM
मिथुन/मिथुनवर्गो(19), 08:46 PM
कर्क/कर्कपुष्कर(19), 09:02 PM
कर्क/सिंहअशुभ(19), 09:19 PM
कर्क/कन्यपुष्कर(19), 09:36 PM
कर्क/तुलाशुभ(19), 09:52 PM
कर्क/वृश्चिकअशुभ(19), 10:09 PM
कर्क/धनूशुभ(19), 10:26 PM
कर्क/मकरअशुभ(19), 10:43 PM
कर्क/कुंभअशुभ(19), 10:59 PM
कर्क/मीनशुभ(19), 11:16 PM
सिंह/मेषअशुभ(19), 11:33 PM
सिंह/वृषभशुभ(19), 11:50 PM

सूर्योदय के समय ग्रह स्थिति

ग्रहवक्री/अस्तराशिअंश
लग्नवृश्चिक02:15:40
सूर्य-वृश्चिक03:11:11
चंद्र(अ)तुला24:40:12
मंगल(अ)वृश्चिक16:36:14
बुध(व)(अ)वृश्चिक05:17:59
गुरु(व)कर्क00:49:52
शुक्रतुला21:31:25
शनि(व)मीन01:00:18
राहु(व)कुंभ20:12:04
केतु(व)सिंह20:12:04
(व)= वक्री ग्रह, (अ)= अस्त ग्रह

(श)
12
1
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हमारे ऑनलाइन पंचांग द्वारा प्रदान किए जाने वाले संपूर्ण विवरण

हमारा मुफ़्त हिंदी पंचांग प्रत्येक दिन के लिए निम्नलिखित व्यापक और सटीक जानकारी प्रदान करता है:

  • प्राथमिक पंचांग विवरण:
    • सूर्य/चंद्र का उदय और अस्त, हिंदी संवत्सर, अयन, ऋतु, मास, पक्ष।
    • प्रत्येक दिन की तिथि, वार, नक्षत्र, योग, करण और उनके समाप्ति समय।
    • दैनिक संकल्प के लिए आवश्यक उदय तिथि, श्राद्ध के लिए आवश्यक श्राद्ध तिथि।
  • शुभ और अशुभ समय:
    • अमृत ​​घड़ी, राहु काल, गुलिक काल, यमगंड काल।
    • दुर्मुहूर्त, वर्ज्यम, और अन्य महत्वपूर्ण समय।
  • दैनिक मुहूर्त और काल विभाजन:
    • दिन, रात्रि विभाग: अरुणोदय, प्रातःकाल, संगवकाल, मध्याह्न, अपराह्न, सायंकाल, प्रदोषकाल, और निशीथकाल।
    • शुभ मुहूर्त: ब्रह्म मुहूर्त, विजय मुहूर्त, अभिजीत काल, गोधूलि मुहूर्त।
    • त्रिसंध्या समय: संध्यावंदन के लिए आवश्यक सुबह, दोपहर और शाम का संध्या समय।
    • गौरी पंचांग, ​​चौघड़िया, होरा समय, और दिन मुहूर्त का विवरण।
  • विश्लेषण और अन्य विवरण:
    • पूजा और होम: अग्नि वास, शिव वास, और होमाहुति समय की जाँच।
    • यात्रा सुझाव: दिशा शूल और संबंधित उपाय।
    • ताराबल/चंद्रबल: प्रत्येक दिन के लिए ताराबल और चंद्रबल जानने की सुविधा।
    • ग्रह स्थिति: सूर्योदय के समय ग्रहों की राशि और नक्षत्र स्थिति।
  • लग्न संबंधित विश्लेषण:
    • प्रत्येक दिन की लग्नांत्य तालिका (लग्न समाप्ति समय)।
    • लग्न शुभांश, पुष्करांश, और लग्न शुभ समय।

पंचांग को समझने के लिए एक मार्गदर्शिका

पंचांग पारंपरिक हिंदू कैलेंडर है जो खगोलीय पिंडों की स्थिति पर आधारित है। इसका नाम "पांच अंग" (पञ्चाङ्ग) है, जो प्रत्येक दिन की ज्योतिषीय गुणवत्ता निर्धारित करने के लिए उपयोग किए जाने वाले पांच मुख्य तत्व हैं।

पंचांग के पांच अंग

१. तिथि (चंद्र दिवस)
चंद्रमा के चरण का प्रतिनिधित्व करता है। एक चंद्र मास में ३० तिथियां होती हैं, और प्रत्येक को विभिन्न प्रकार की गतिविधियों के लिए उपयुक्त माना जाता है।
२. वार (सप्ताह का दिन)
सप्ताह का दिन (रविवार से शनिवार), प्रत्येक एक विशिष्ट ग्रह द्वारा शासित होता है, जो दिन की सामान्य ऊर्जा को प्रभावित करता है।
३. नक्षत्र (चंद्र हवेली)
वह तारा नक्षत्र जिसमें चंद्रमा स्थित है। २७ नक्षत्र हैं, और प्रत्येक के माध्यम से चंद्रमा का गोचर मुहूर्त के लिए महत्वपूर्ण है।
४. योग (चंद्र-सौर संयोजन)
सूर्य और चंद्रमा के संयुक्त देशांतर से गणना की गई एक ज्योतिषीय समय अवधि। २७ योग हैं, कुछ शुभ और अन्य अशुभ।
५. करण (तिथि का आधा)
एक तिथि का आधा। कुल ११ करण हैं, और वे अनुकूल समय निर्धारित करने के लिए एक और विस्तृत परत प्रदान करते हैं।

प्रतिदिन ध्यान देने योग्य मुख्य समय

  • राहुकाल: प्रत्येक दिन लगभग ९० मिनट की अवधि जिसे किसी भी नए उद्यम को शुरू करने के लिए अत्यधिक अशुभ माना जाता है।
  • यमगण्डकाल: एक और अशुभ अवधि, जिसे महत्वपूर्ण गतिविधियों, विशेषकर यात्रा के लिए टाला जाना चाहिए।
  • गुलिक काल: एक मध्यम शुभ अवधि। माना जाता है कि इस दौरान शुरू की गई गतिविधियाँ दोहराई जाती हैं।
  • अमृत काल / अभिजित मुहूर्त: सफलता सुनिश्चित करने के लिए महत्वपूर्ण कार्यों को शुरू करने के लिए एकदम सही समय की अत्यधिक शुभ खिड़कियां।
  • वर्ज्यम: एक नक्षत्र के भीतर एक अशुभ अवधि जिसे सभी अच्छे कार्यों के लिए टाला जाना चाहिए।

इन समयों को समझना और उनका पालन करना आपके दैनिक जीवन में सकारात्मकता और सफलता लाने में मदद कर सकता है।


श्री संतोष कुमार शर्मा

ज्योतिष विशेषज्ञ द्वारा निर्मित

हमारा पंचांग सटीक स्विस एफिमेरिस और लहरी अयनांश का उपयोग करके, २०+ वर्षों के अनुभव वाले प्रसिद्ध वैदिक ज्योतिषी श्री संतोष कुमार शर्मा के मार्गदर्शन में गणना किया जाता है। हमारे बारे में और जानें

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